शाहिद अफरीदी ने बढ़ाया दोस्ती का हाथ, BCCI से की गुजारिश

मौजूदा हालात में एशिया कप का आयोजन कैसे होगा इसको लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है। बीसीसीआई सचिव जय शाह का पहले ही बयान आ चुका है कि एशिया कप पाकिस्तान के बजाय किसी तटस्थ स्थान पर कराया जाएगा।

पूर्व भारतीय कप्तान शाहिद अफरीदी ने भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) से एशिया कप में भाग लेने के लिए अपनी टीम को पाकिस्तान भेजने का आग्रह किया है। हालांकि अभी इसके आयोजन को लेकर कोई फैसला नहीं लिया गया है।

इस पीढ़ी में कोई युद्ध या संघर्ष नहीं है

दोहा में लीजेंड्स लीग क्रिकेट (एलएलसी) के दौरान अफरीदी ने मीडिया से कहा, “भारत महान होता।” पाकिस्तान और भारत ने क्रिकेट में एक बड़ा कदम आगे बढ़ाया होता। हम युद्ध और संघर्ष के समय में नहीं रह रहे हैं। “हम अपने रिश्ते को सुधारना चाहते हैं।

बीसीसीआई एक बहुत मजबूत संस्था है

इसके अलावा अफरीदी ने पूछा- अगर हम किसी से दोस्ती करना चाहते हैं लेकिन वह हमसे बात नहीं करता तो हम क्या कर सकते हैं? इसमें कोई शक नहीं कि बीसीसीआई काफी मजबूत बोर्ड है, लेकिन ताकत के साथ जिम्मेदारी भी आती है। आपका लक्ष्य बहुत अधिक शत्रु न बनाने का प्रयास करना है।

सफल होना है तो दोस्त बनाओ। जब आप ज्यादा दोस्त बनाते हैं तो आप मजबूत होते हैं। भारतीय टीम में अपने दोस्तों से मिलना और उनके साथ चीजों पर चर्चा करना मेरे लिए अभी भी खुशी की बात है। रैना ने दूसरे दिन मुझे एक बल्ला दिया जब मैंने एक बल्ला मांगा।

खिलाड़ियों की सुरक्षा चिंता का विषय है

पाकिस्तानी क्रिकेट अधिकारियों ने पिछले अक्टूबर में संकेत दिया था कि अगर भारत एशिया कप के लिए पाकिस्तान की यात्रा नहीं करता है तो वे भारत में अगले साल होने वाले विश्व कप से हट सकते हैं। बीसीसीआई अपने खिलाड़ियों की सुरक्षा को लेकर भी चिंतित है।

पाकिस्तान सुपर लीग के दौरान स्टेडियम के बाहर बम धमाका। ऐसे में भारतीय खिलाड़ियों की सुरक्षा को लेकर चिंतित होना वाजिब है। यह तथ्य कि अतीत में कई अंतरराष्ट्रीय टीमों ने पाकिस्तान का दौरा किया है, शाहिद के इस दावे को झुठलाती है कि पाकिस्तान खेलों के लिए सुरक्षित देश नहीं है।

अंतरराष्ट्रीय टीमें में यहां बड़ी संख्या आई थीं

उनके मुताबिक, हाल ही में कई अंतरराष्ट्रीय टीमों ने पाकिस्तान का दौरा किया है, जिससे सुरक्षा चिंताएं बढ़ी हैं। पहले भी हमें भारत से सुरक्षा संबंधी खतरों का सामना करना पड़ा है, लेकिन जब तक दोनों देशों की सरकारें अनुमति दें, यात्रा हो सकती है।

अगर दौरा नहीं होता है तो हम उन लोगों को मौका देंगे। वे अपने बीच क्रिकेट न होने से ज्यादा कुछ नहीं चाहते हैं। राजनेता यही करते हैं, वे बात करते हैं।

आप जब तक आपस में नहीं बैठेंगे तब तक आप किसी भी बात का समाधान नहीं कर सकते। हमारी सरकारें आपस में बेहतर संबंध चाहती हैं, इसलिए बेहतर होता कि भारत पाकिस्तान आता।

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